राजमा की खेती (Farming of French bean) रबी ऋतु में की जाती है| राजमा को फ्रेंच बीन कहते है| इसकी खेती सब्जी और दाना के लिए की जाती है| स्वाद और सेहत के लिहाज से राजमा की फलियां (बीन्स) सबसे महत्वपूर्ण होती है, और इसकी जायकेदार सब्जी प्रायः सभी लोग बेहद पसंद करते है| अधिक [Read More] …
Agriculture
मेथी की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
बीजीय मसाला फसलों में क्षेत्रफल और उत्पादन के दृष्टिकोण से मेथी (Fenugreek) का तीसरा स्थान आता है| भारत में राजस्थान व गुजरात मुख्य मेथी उत्पादक राज्य है| जिसमें राजस्थान अकेला देश का 80 फीसदी से ज्यादा मेथी उत्पादन करता है| वानस्पतिक रुप से यह फसल एकवर्षीय शाकीय पादप की श्रेणी में आती है, जो दोहरे [Read More] …
सूरजमुखी की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, देखभाल, पैदावार
सूरजमुखी की खेती (Farming of sunflower) खरीफ, रबी एवं जायद तीनो ही मौसमों में की जा सकती है| परन्तु खरीफ में सूरजमुखी पर अनेक रोग कीटों का प्रकोप होता है, फूल छोटे होते है, तथा उनमें दाना भी कम पड़ता है| जायद में सूरजमुखी की खेती से अच्छी उपज प्राप्त की जा सकती है| कहा [Read More] …
तोरई की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
तोरई की खेती पुरे भारत में की जाती है| लेकिन तोरई की खेती (Ridge gourd farming) मुख्य उत्पादक राज्य केरल, उड़ीसा, कर्नाटक, बंगाल और उत्तर प्रदेश है| यह बेल पर लगने वाली सब्जी होती है| इसकी सब्जी की भारत में छोटे कस्बों से लेकर बड़े शहरों में बहुत मांग है| क्योंकि यह अनेक प्रोटीनों के [Read More] …
जई की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
रबी मौसम में उगाई जाने वाली फसलों में जई का एक मुख्य स्थान है| हमारे देश में जई की खेती (Oats farming) अधिकतर सिंचित दशा में की जाती है, किंतु मध्य अक्टूबर तक भूमि पर्याप्त नमीं होने पर इसे असिंचित दशा में भी उगया जा सकता है| ऐसे सभी जलवायु क्षेत्रों में जहां गेहूं और [Read More] …
तोरिया / लाही की खेती: किस्में, बुवाई, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
तोरिया / लाही रबी की तिलहनी फसलों में सबसे कम समय में पकने वाली और सबसे पहले बोयी जाने वाली फसल है| यह फसल आमतौर पर उत्तर भारत के सभी क्षेत्रों में उगाई जाती है| तोरिया की खेती, खरीफ फसल की कटाई तथा रबी की फसल की बुवाई के बीच के समय में ली जाती [Read More] …
रिजका की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
रिजका रबी में उगाई जाने वाली एक बहुवर्षीय फलीदार चारे की सिंचित फसल है| जो कि एक बार बोने पर लगभग तीन से चार वर्ष तक उपज देती है| इसकी जड़े भूमि में अधिक गहराई तक जाती है| इसमें सूखे के साथ ठण्ड एवं गर्मी सहने की क्षमता भी अधिक होती है| इसकी जड़ो में [Read More] …
बरसीम की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
पशुओं के लिए बरसीम बहुत ही लोकप्रिय चारा है, क्यूंकि यह अत्यन्त पौष्टिक एवं स्वादिष्ट होता है| इसके अतिरिक्त यह लवणीय एवं क्षारीय भूमि को सुधारने के साथ-साथ भूमि की उर्वरा शक्ति में भी वृद्धि करती है| यह वर्ष के पूरे शीतकालीन समय में और गर्मी के आरम्भ तक हरा चारा उपलब्ध करवाती है| पशुपालन [Read More] …
मसूर की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
रबी की दलहनी फसलों में मसूर की खेती (Lentil farming) का प्रमुख स्थान है| मसूर की खेती भारत की एक बहुप्रचलित एवं लोकप्रिय दलहनी फसल है| जिसकी खेती प्रायः भारत के हर राज्य में की जाती है| विश्व में इसकी खेती सर्वाधिक भारत में की जाती है| मसूर की खेती खेती असिंचित क्षेत्रों में धान [Read More] …
जौ की खेती: किस्में, बुवाई, पोषक तत्व, सिंचाई, देखभाल, पैदावार
जौ पृथ्वी पर सबसे प्राचीन काल से उगाये जाने वाली फसलों में से एक है| अन्य रबी फसलों के मुकाबले जौ की खेती (Barley farming) मौसम की विपरीत परिस्थितियों जैसे- सूखा, कम उपजाऊ मिटटी तथा हल्की लवणीय एवं क्षारीय भूमि पर उत्पादन के लिए अधिक सक्षम है| हमारे देश में जौ की खेती मुख्यतः राजस्थान, [Read More] …